सांसद सुधाकर सिंह ने धड़गांव पैक्स में किसानों को जागरूक किया
प्रखंड क्षेत्र के डेढ़गांव ग्राम में शनिवार को वार्षिक आम सभा का आयोजन किया गया, जिसका उद्घाटन बक्सर सांसद सुधाकर सिंह ने किया।
केटी न्यूज/ विक्रमगंज (रोहतास)
विक्रमगंज (रोहतास): प्रखंड क्षेत्र के डेढ़गांव ग्राम में शनिवार को वार्षिक आम सभा का आयोजन किया गया, जिसका उद्घाटन बक्सर सांसद सुधाकर सिंह ने किया। इस सभा में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए सांसद ने कृषि और सहकारिता से जुड़े कई मुद्दों पर विचार साझा किए।
सुधाकर सिंह ने कहा कि इस देश में सहकारिता को समाप्त करने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि वर्तमान सरकार बड़े पूंजीपतियों को संरक्षण दे रही है और बिहार तथा केंद्र सरकारों का वास्तविक किसानों से कोई लेना-देना नहीं है। उन्होंने इस बात पर चिंता जताई कि इस देश में अमीरों के लिए एक कानून है, जबकि गरीब किसानों के लिए अलग कानून बनाया गया है।
सांसद ने किसानों को सलाह दी कि वे अपने उत्पादन के तरीकों पर गंभीरता से विचार करें। उन्होंने बताया कि अन्य राज्यों में दूध उत्पादन से किसानों को अच्छी आमदनी हो रही है, लेकिन बिहार में धान और गेहूं से कोई लाभ नहीं हो रहा। यह स्थिति चिंताजनक है और किसानों को इस पर विचार करना चाहिए।
सभा के दौरान, सुनील कुमार ने बिक्रमगंज में आरा-रांची ट्रेन के ठहराव की मांग उठाई, जिस पर सांसद ने आश्वासन दिया कि वह इस मुद्दे को संबंधित मंत्री के सामने उठाएंगे। इसके अलावा, प्रखंड के विभिन्न वार्डों में खराब स्ट्रीट लाइट को ठीक कराने का मुद्दा भी चर्चा में रहा। किसानों ने हर खेत तक बिजली पहुंचाने के लिए पोल लगाने की मांग की, जिसे सांसद ने गंभीरता से लिया।
सभा की शुरुआत विद्यालय की छात्राओं द्वारा प्रस्तुत स्वागत गीत से हुई, जिसने सभी उपस्थित लोगों का दिल जीत लिया। इस मौके पर जिला सहकारिता पदाधिकारी नयन प्रकाश, सासाराम कोऑपरेटिव के उपाध्यक्ष विजय बहादुर सिंह, दावथ बीसीओ अखिलेश कुमार, समाजसेवी अभिषेक पटेल, और कई अन्य स्थानीय नेता मौजूद थे।
कार्यक्रम का संचालन युवराज प्रताप सिंह ने किया, जबकि अध्यक्षता भरत सिंह ने की। कार्यक्रम के संयोजक डेढ़गांव पैक्स अध्यक्ष रंजीत कुमार सिंह थे। उपस्थित लोगों ने सभा में उठाए गए मुद्दों पर गंभीरता से चर्चा की और इसे किसानों और स्थानीय लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण प्लेटफॉर्म माना।