बाढ़ की आशंका के बीच अलर्ट मोड में स्वास्थ्य विभाग, गर्भवती महिलाओं और गंभीर मरीजों के लिए विशेष योजना
बक्सर जिले में गंगा के जलस्तर में लगातार हो रही वृद्धि ने प्रशासन और आमजन की चिंता बढ़ा दी है। संभावित बाढ़ की स्थिति को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने कमर कस ली है। जिला स्वास्थ्य समिति ने सभी पीएचसी और सीएचसी को अलर्ट मोड में रखते हुए आवश्यक दवाएं, संसाधन और विशेष व्यवस्था सुनिश्चित कर दी है।

केटी न्यूज/बक्सर
बक्सर जिले में गंगा के जलस्तर में लगातार हो रही वृद्धि ने प्रशासन और आमजन की चिंता बढ़ा दी है। संभावित बाढ़ की स्थिति को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने कमर कस ली है। जिला स्वास्थ्य समिति ने सभी पीएचसी और सीएचसी को अलर्ट मोड में रखते हुए आवश्यक दवाएं, संसाधन और विशेष व्यवस्था सुनिश्चित कर दी है।
मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी (सीएस) डॉ. शिवकुमार प्रसाद चक्रवर्ती ने केशव टाइम्स से बातचीत में बताया कि जिले में बाढ़ प्रभावित इलाकों की पहचान कर वहां स्वास्थ्य सेवाएं पहले से ही सक्रिय कर दी गई हैं। इन क्षेत्रों के लिए विशेष रूप से एंटी वेनम इंजेक्शन, बुखार, डायरिया और अन्य संक्रामक बीमारियों की दवाएं भेजी जा चुकी हैं। साथ ही बच्चों और गर्भवती महिलाओं की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए अतिरिक्त चिकित्सा सामग्री भी भिजवाई जा रही है।
सीएस ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग की प्राथमिकता है कि किसी भी आपात स्थिति में लोगों को स्वास्थ्य सेवाएं समय पर उपलब्ध हो जाएं। इसके लिए विभाग द्वारा संभावित प्रभावित इलाकों में गर्भवती महिलाओं, बुजुर्गों और गंभीर बीमारियों से पीड़ित मरीजों की सूची तैयार कर ली गई है। इस सूची के आधार पर दवा वितरण और चिकित्सकीय सहायता की योजना बनाई गई है, ताकि जरूरतमंदों को प्राथमिकता दी जा सके।
इसके अलावा मोबाइल मेडिकल यूनिट और मेडिकल टीमों को भी तैयार रखा गया है जो जरूरत पड़ने पर बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में जाकर शिविर के माध्यम से इलाज और दवाएं वितरित करेंगी। बाढ़ की स्थिति बिगड़ने से पहले ही स्वास्थ्य विभाग की सक्रियता से यह स्पष्ट है कि जिला प्रशासन हर स्तर पर जनस्वास्थ्य को सुरक्षित रखने की दिशा में मुस्तैदी से जुटा है।