अवैध बालू खनन के खिलाफ डीएम-एसपी ने चलाया पूरी रात अभियान, मचा हड़कंप
- तीन वाहन जब्त, 23 वाहनों पर लगाया गया दस लाख का जुर्माना
केटी न्यूज/डुमरांव
अवैध बालू खनन के खिलाफ बक्सर डीएम अंशुल अग्रवाल एवं एसपी मनीष कुमार के साथ जिले के आलाधिकारियों ने पूरी रात बालू लदें ट्रकों की गहन जांच की। जांच के दौरान अवैध रूप से बालू लदें तीन ट्रकों को जब्त कर आठ लाख का जुर्माना लगाया गया जबकि 20 ओवरलोड ट्रकों से दो लाख का जुर्माना वसूलने की कड़ी कार्रवाई की गयी। अधिकारियों की इस कार्रवाई से बालू लदें ट्रकों के रफ्तार थम गये और जिले से बाहर ही बालू के ट्रक के साथ अधिकांशतः चालक छिपे रहे।
अधिकारियों की टीम रात्रि 11 बजें से तीन बजे तक डुमरांव के टेढ़की पुल, दलसागर और गोलंबर चेक पॉइंट पर डटे रहे। अधिकारियों की टीम में बक्सर अनुमंडल पदाधिकारी धीरेन्द्र कुमार मिश्र, जिला परिवहन पदाधिकारी, जिला खनन पदाधिकारी, जिला खान निरीक्षक के अलावे डुमरांव एसडीपीओ अफाक अख्तर अंसारी शामिल थे। यह टीम टेढ़की पुल के रास्ते बसौली, नदांव, जगदीशपुर, जासों होते हुए गोलंबर का भी दौरा किया और बालू लदें सैकड़ो ट्रकों का निरीक्षण किया। इस दौरान ट्रक चालकों के बीच हड़कंप मचा रहा। डीएम ने कहा कि पूरी रात रोहतास से ट्रकों के बालू लदें काफिले बक्सर से गुजरकर यूपी की ओर निकलते हैं,
जो खनन और परिवहन के नियमों के उल्लंघन करने वाले वैसे वाहनों पर जिला प्रशासन ने सख्त कार्रवाई किया। कार्रवाई के दौरान तीन वाहनों को जब्त करते हुए कुल 23 वाहनों से दस लाख की राशि का जुर्माना लगाते हुए कार्रवाई की गयी है। बताया जाता है कि बक्सर-पटना फोरलेन सड़क के बनने के बाद रोहतास से अधिकांशतः बालू लदें ट्रक बक्सर के गोलंबर से बलिया और गाजीपुर निकलते है। एक अनुमान के अनुसार पूरी रात में करीब पांच सौ से अधिक ट्रकें गुजरती है, जिससे एनएच 922 से गुजरना मुश्किल हो जाता है। डुमरांव नगर परिषद प्रशासन द्वारा करीब एक दशक पूर्व शहर के बीचोबीच बने सड़क पर नो एंट्री लागू किया गया था लेकिन ट्रक चालक टेढ़की पुल से बसौली, जगदीशपुर होते हुए बक्सर की ओर निकलते है।
रात होते ही मुख्य सड़क स्टेशन रोड पर ट्रकों का काफिला गुजरना शुरू हो जाता है। संयोगवश रेलवे क्राॅसिंग बंद हुआ तो ट्रकों का काफिला कोरानसराय तक लग जाता है। इस दौरान स्थानीय लोगों को जरूरी काम के लिए यदि स्टेशन रोड से गुजरना पड़े तो उन्हें घंटों इंतजार करना पड़ता है। रात्रि पहर ट्रकों के आवाजाही से स्टेशन रोड में आंधी की तरह धूल उड़ती है। ऐसी स्थिति में विवश होकर लोग अपने घरों के खिड़की भी बंद कर देते है। ट्रकों के शोर से लोग ध्वनि प्रदूषण का भी दंश झेलते है।
माॅफियाओं के लिए सोना बन गया है लाल बालू
बता दें कि लाल बालू का उपयोग घर बनाने के लिए किया जाता है। मुख्यतः यह सोन नद से निकाला जाता है। यह बालू भले ही लोगों के गृह निर्माण के काम आता हो, लेकिन यही बालू माॅफियाओं के लिए सोना बन रहा है। रोहतास से बक्सर के रास्ते यूपी में बालू लदें ट्रकों को पहुंचा बालू माॅफिया हर दिन लाखों का कारोबार कर रहे है तथा सरकार को भारी राजस्व की क्षति भी पहुंचाते है।
बालू के खेल में अक्सर पुलिस की भूमिका पर भी सवाल उठते रहा है। खासकर एनएच 120 के किनारे स्थित थानों द्वारा मैनेज के खेल से इंकार नहीं किया जा सकता है। बहरहाल डीएम के सख्त रवैया अपनाने के बाद देखना है कि बालू माॅफिया अब कौन सा रास्ता अख्तियार कर रहे है।