डुमरांव में बिजली संकट पर फूटा आक्रोश, पूरे दिन चलते रहा धरना-प्रदर्शन
ग्रामीण क्षेत्रों में जारी बिजली संकट के खिलाफ शनिवार को लगातार दूसरे दिन राजनैतिक व सामाजिक संगठनों से जुड़े लोग सड़क पर उतरे तथा धरना-प्रदर्शन व आक्रोश मार्च आदि निकाल बिजली विभाग के अधिकारियों को धान की रोपनी को देखते हुए कृषि फिडरो में 20-22 घंटे निर्बाध गति से बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने की मांग की और कहा कि ऐसा नहीं होने पर आंदोलन तेज किया जाएगा। .

-- बिजली संकट को लेकर जन संघर्ष मोर्चा का धरना, अनिश्चितकालीन आंदोलन की दी चेतावनी
-- माले ने आक्रोश मार्च निकाल सौंपा ज्ञापन, बिजली नहीं तो चुप्पी नहीं का दिया नारा
केटी न्यूज/डुमरांव
ग्रामीण क्षेत्रों में जारी बिजली संकट के खिलाफ शनिवार को लगातार दूसरे दिन राजनैतिक व सामाजिक संगठनों से जुड़े लोग सड़क पर उतरे तथा धरना-प्रदर्शन व आक्रोश मार्च आदि निकाल बिजली विभाग के अधिकारियों को धान की रोपनी को देखते हुए कृषि फिडरो में 20-22 घंटे निर्बाध गति से बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने की मांग की और कहा कि ऐसा नहीं होने पर आंदोलन तेज किया जाएगा। .
इस दौरान पूरे दिन बिजली विभाग के खिलाफ धरना प्रदर्शन जारी रहा। एक तरफ जन संघर्ष मोर्चा के बैनर तले किसानों तथा विपक्षी दलों के नेताओं ने डुमरांव पॉवर सब स्टेशन कार्यालय परिसर में एक दिवसीय धरना दिया तो दूसरी तरफ माले ने इस मुद्दे पर आक्रोश मार्च निकाल सात सूत्री मांग पत्र सौंपा।
-- पॉवर सब स्टेशन कार्यालय के पास पूरे दिन धरना पर बैठे रहे मोर्चा कार्यकता
बिजली संकट के खिलाफ जन संघर्ष मोर्चा के बैनर तले महागठबंधन दलों ने जोरदार धरना प्रदर्शन किया। इस दौरान पुराने पॉवर सब स्टेशन कार्यालय के परिसर में एकदिवसीय धरना के माध्यम से जनप्रतिनिधियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने जिले में बिजली की बदहाल व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े किए।
धरने का नेतृत्व जन संघर्ष मोर्चा के संयोजक एवं राजद के पूर्व प्रदेश महासचिव अखिलेश सिंह यादव ने जबकि संचालन राजद डुमरांव के प्रखंड अध्यक्ष मनोज कुमार ने किया। धरने में सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष उदय नारायण राजभर मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए।
धरनार्थियों ने कहा कि भीषण गर्मी और खेती के सीजन में बिजली की आंखमिचौली आम जनता, खासकर किसानों और विद्यार्थियों के लिए अत्यंत कष्टकारी हो गई है। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार और विद्युत विभाग का रवैया पूरी तरह उदासीन है। वक्ताओं ने चेतावनी दी कि यदि समय रहते समस्याओं का समाधान नहीं किया गया, तो वे अनिश्चितकालीन धरना और आमरण अनशन शुरू करने को बाध्य होंगे।
धरने में रखी गई प्रमुख मांगों में जिले के ग्रामीण व शहरी दोनों फिडरो में 20 से 22 घंटे निर्बाध बिजली आपूर्ति, लो वोल्टेज की समस्या का समाधान, जर्जर तारों को बदलकर उच्च क्षमता वाले तारों की आपूर्ति, सभी सब स्टेशनों की क्षमता में वृद्धि और ट्रांसफार्मरों पर स्विच की व्यवस्था शामिल हैं। साथ ही डुमरांव ग्रिड की क्षमता बढ़ाने और नगर परिषद क्षेत्र के महरौरा, हथेलीपुर मठिया जैसे मोहल्लों को नियमित बिजली सुविधा देने की भी मांग की गई।
धरने में पूर्व मुखिया प्रतिनिधि इस्लाम अंसारी, राजद जिलाध्यक्ष शेषनाथ सिंह, संतोष भारती, सत्येंद्र आजाद, धनपत चौधरी, अनिल सिंह, नागेंद्र सिंह, इफ्तार अहमद सहित कई नेता व कार्यकर्ता उपस्थित थे। प्रदर्शन के अंत में आंदोलन को तेज करने की चेतावनी दी गई।
-- डुमरांव में बिजली संकट को लेकर भाकपा माले का हल्ला बोल, सौंपा सात सूत्री मांग पत्र
डुमरांव में बिजली संकट को लेकर शनिवार को भाकपा माले के नेतृत्व में सैकड़ों कार्यकर्ताओं और स्थानीय लोगों ने महरौरा मोड़ से आक्रोश मार्च निकालते हुए विद्युत कार्यालय का घेराव किया। बिजली नहीं तो चुप्पी नहीं और जनता त्रस्त, अधिकारी मस्त जैसे नारों से पूरा इलाका गूंज उठा। इस प्रदर्शन ने क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति व्यवस्था की बदहाली को एक बार फिर उजागर कर दिया।
प्रदर्शन का नेतृत्व भाकपा माले के प्रखंड सचिव धर्मेन्द्र सिंह यादव ने किया, जबकि सभा की अध्यक्षता नगर सचिव कृष्णा राम ने की। वक्ताओं ने आरोप लगाया कि बिजली विभाग की लापरवाही के कारण डुमरांव और आस-पास के ग्रामीण इलाकों में लोग भीषण गर्मी में बेहाल हैं। न तो ट्रांसफार्मर समय पर बदले जा रहे हैं और न ही विभागीय अधिकारी फोन उठाते हैं। कई गांवों में 10-12 दिन से ट्रांसफार्मर जले पड़े हैं, जिससे किसानों की फसलें प्रभावित हो रही हैं और बच्चों की पढ़ाई भी बाधित हो रही है।
सभा को युवा नेता बाबूलाल राम, कन्हैया पासवान, पूजा कुमारी, छात्र नेता अंकित मौर्य सहित कई वक्ताओं ने संबोधित किया। सभी ने एक स्वर में बिजली आपूर्ति व्यवस्था में सुधार की मांग की और चेतावनी दी कि अगर समस्याएं जल्द दूर नहीं हुईं, तो आंदोलन और तेज किया जाएगा।
प्रदर्शन के बाद विभागीय कर्मचारियों से वार्ता के दौरान भाकपा माले की ओर से सात सूत्री मांग पत्र सौंपा गया। इसमें 48 घंटे के भीतर खराब ट्रांसफार्मर बदलने, कृषि फीडर में 20 घंटे बिजली देने, जर्जर तारों की मरम्मत, बिजली बिल माफी, और उपभोक्ताओं की शिकायतों पर त्वरित कार्रवाई जैसी मांगें शामिल थीं। कार्यक्रम में भगवान दास, ऊषा देवी, धुरान यादव, प्रिंस पठान, संजय शर्मा, सुरेंद्र कुशवाहा जैसे दर्जनों सामाजिक कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।