अप्राकृतिक यौनाचार के मामले में जैन कॉलेज के पीटीआई टीचर को 10 साल सश्रम कारावास

अप्राकृतिक यौनाचार के मामले में जैन कॉलेज के पीटीआई टीचर को 10 साल सश्रम कारावास

- क्रिकेट सिखने गए किशोर के साथ पीटीआई टीचर ने घिनौने काम को दिया था अंजाम

- कोर्ट ने पीड़ित किशोर को चार लाख रुपए का मुआवजा देने का जारी किया फरमान

केटी न्यूज/आरा

सिविल कोर्ट की एक अदालत ने क्रिकेट सिखाने के नाम पर किशोर के साथ अप्राकृतिक यौनाचार करने के आरोपित पीटीआई टीचर कन्हैया सिंह को 10 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही, कोर्ट ने आरोपित पर 40 हजार रुपए का अर्थदंड भी लगाया गया। बताया जाता है कि कन्हैया सिंह जैन कॉलेज के पीटीआई टीचर हैं। अपर जिला व सत्र न्यायाधीश-8 सह पॉक्सो कोर्ट के विशेष न्यायाधीश अरविंद कुमार सिंह ने मंगलवार को यह फैसला सुनाया।‌ हालांकि, मामले में पिछले बुधवार ही कोर्ट ने टीचर को दोषी करार दिया था।

इस संबंध में पॉक्सो कोर्ट की स्पेशल पीपी सरोज कुमारी ने बताया कि चार जुलाई 2019 को किशोर के नाना ने पीटीआई टीचर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करायी थी। ट्रायल के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से पांच गवाहों के बयान दर्ज कराया गया। गवाहों के बयान और साक्ष्य के आधार पर कोर्ट ने 12 अप्रैल को दोषी पाया। उसके बाद मंगलवार को कोर्ट की ओर से सजा की बिंदु पर सुनवाई की गयी। उस दौरान कोर्ट ने टीचर को 10 साल की सश्रम कारावास और 40 हजार के अर्थदंड की सजा सुनाई गई। साथ ही, कोर्ट नेसे जिला प्रशासन को पीड़ित को चार लाख का मुआवजा देने का फरमान जारी किया है।

स्पेशल पीपी सरोज कुमारी ने बताया कि दर्ज प्राथमिकी में बताया गया था कि किशोर चार जुलाई 2019 की शाम पीटीआई कन्हैया सिंह के पास जैन कॉलेज में गया था। वहां उसने टीचर के पैर छुए ‌और क्रिकेट सिखाने का अनुरोध किया। उसके बाद टीचर उसे जिम में ले गए और अंदर से दरवाजा बंद कर दिया।

टीचर ने पहले पीटी करने के लिए कहा। उसके बाद उन्होंने किशोर के साथ अप्राकृतिक यौनाचार किया। घटना के बाद वह घर पहुंचा और परिजनों को घटना की जानकारी दी। मामले की जानकारी होते ही किशोर के नाना की ओर से प्राथमिकी दर्ज करायी थी।