नावानगर थाना के चालक से शराब बरामद, चालक फरार सिस्टम पर उठ रहे गंभीर सवाल

स्थानीय थाना क्षेत्र में गुरूवार को हुई कार्रवाई ने पुलिस-प्रशासन की आंतरिक निगरानी व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। थाना की ही सरकारी गाड़ी के चालक सत्येंद्र यादव के पास से अंग्रेजी शराब की चार बोतलें बरामद होने के बाद अब पूरा मामला नए मोड़ लेता दिखाई दे रहा है। शनिवार को यह मामला सामने आते ही महकमे में हड़कंप मच गया है।

नावानगर थाना के चालक से शराब बरामद, चालक फरार सिस्टम पर उठ रहे गंभीर सवाल

केटी न्यूज/नावानगर

स्थानीय थाना क्षेत्र में गुरूवार को हुई कार्रवाई ने पुलिस-प्रशासन की आंतरिक निगरानी व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। थाना की ही सरकारी गाड़ी के चालक सत्येंद्र यादव के पास से अंग्रेजी शराब की चार बोतलें बरामद होने के बाद अब पूरा मामला नए मोड़ लेता दिखाई दे रहा है। शनिवार को यह मामला सामने आते ही महकमे में हड़कंप मच गया है।बता दें कि गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने डुमरांव-बिक्रमगंज मुख्य मार्ग स्थित रूपसागर गांव के एक किराना दुकान में छापेमारी की। दुकान के भीतर एक बैग से 750 एमएल की रॉयल स्टैग की चार बोतलें, वर्दी तथा अन्य सामान बरामद किया गया, जो पुलिस जीप के चालक व होमगार्ड जवान सत्येन्द्र यादव की थी। 

इस मामले में थानाध्यक्ष कुसुम कुमार केसरी के बयान पर चालक के खिलाफ मद्य निषेध अधिनियम के तहत एफआईआर दर्ज कर ली गई है, हालांकि उन्होंने मामले की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है। मामला केवल चार बोतलों की बरामदगी का नहीं है, बल्कि पुलिस व्यवस्था में व्याप्त खामियों का संकेत देता है। चर्चा यह भी है कि गुरुवार को नावानगर थाना में जिस ब्रांड की बड़ी खेप (947 पेटी) शराब जब्त की गई थी, उसी ब्रांड की शराब चालक के पास से मिले बैग में पाई गई।

ऐसे में यह प्रश्न उठ रहा है कि क्या जब्त शराब सुरक्षित रखी जा रही है या उसमें सेंधमारी की आशंका भी संभव है। स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकारी गाड़ी का चालक होने के नाते सत्येंद्र यादव की जिम्मेदारी प्रशासनिक गतिविधियों में सहयोग करना था, लेकिन उसकी कथित संलिप्तता यह दर्शाती है कि शराब माफिया की पहुंच पुलिस तंत्र के भीतर तक हो सकती है।

यह पहली घटना नहीं है जब शराब बरामदगी के बाद उसके रख-रखाव पर सवाल खड़े हुए हों। फिलहाल थाना प्रशासन मामले को दबे स्वर में संभालने की कोशिश में जुटा है, लेकिन घटना ने विभागीय अनुशासन, जब्त सामग्री की सुरक्षा और पुलिस तंत्र की पारदर्शिता पर गंभीर बहस छेड़ दी है।इस संबंध में डुमरांव एसडीपीओ पोलस्त कुमार ने बताया कि चालक के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर लिया गया है। उसकी गिरफ्तारी के लिए संभावित ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है।