बंदरों के आतंक से परेशान है शहरवासी, प्रशासन बेफिक्र
केटी न्यूज/डुमरांव
डुमरांव में बंदरों के उत्पात से हर क्षेत्र के लोग परेशान हैं। लोगों ने नगर परिषद प्रशासन से शहर में आतंक मचाने वाले बंदरों को पकड़कर दूर-दराज जंगल में छोड़ने का आग्रह किया है। लोगों का कहना है कि नगर परिषद जनता की इस परेशानी को लेकर बिल्कुल भी गंभीर नहीं है। बंदरों का उत्पात शहर के सभी इलाकों में देखने को मिल रहा है। नगर परिषद ने वर्ष 2021 में बंदर पकड़ने के लिए यूपी के कानपुर की संस्था से एक टीम बुलायी थी लेकिन कुछ दिनों के बाद ही उसमें घालमेल होने के बाद उसका टेंडर रद्द कर दिया गया। नप बंदरों की समस्या से लोगों को निजात दिलाने की दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठा रहा है।
शहर के पिंटू जायसवाल, अभिषेक कुमार, मनीष कुमार, करीमन साह आदि ने बताया हर वार्ड में बंदरों के बड़े-बड़े झुंड हैं। पैदल चलने वाले कई लोग इनके झुंड को देखकर अपना रास्ता बदल लेते है। स्थानीय लोगों ने कहा कि शहर में बंदरों का आंतक इतना फैल गया है कि दुकानदार भी काफी परेशान हो चुके हैं। बंदरों की वजह से हर रोज दुकानदरों को सैकड़ों रुपयों का नुकसान होता है। कई दुकानदारों ने बंदरों से सामान बचाने के लिए दुकान पर जालियां लगा ली हैं। बंदर इतने चालाक हैं
कि घर के दरवाजों की कुंडी खोलकर अंदर रखा सामान ले जाते है। इसके अलावा बंदर सुखाने रखे कपड़े ले जाते हैं और जब तक उन्हें कुछ खाने को न दिया जाए बंदर कपड़े नहीं छोड़ते। लोगों ने यह भी कहा कि कुछ जगह ऐसे हैं जहां से गुजरना हो तो हाथ में डंडा लेना पड़ता है नहीं तो बंदर हमला कर देते है। बंदरों के डर से लोग बच्चों को छतों पर अकेला नहीं भेजते और स्कूल भी खुद छोड़ने जाते है। लोगों का कहना है कि नप प्रशासन को जनता की समस्या पर गंभीरता से विचार कर समाधान करना चाहिए।