अदालत ने हत्या के तीन दोषियों को सुनाई उम्रकैद की सजा, पीड़ित परिवार बोला देर से सही, मिला न्याय

ब्रह्मपुर थाना क्षेत्र में जमीन पर अवैध कब्जा को लेकर वर्षों से चल रहा विवाद आखिरकार न्यायिक फैसले के बाद नई दिशा में पहुंच गया है। मंगलवार को एडीजे-5 संजीत कुमार सिंह की अदालत ने इस बहुचर्चित मामले में फैसला सुनाते हुए तीन आरोपियों को हत्या का दोषी करार दिया और उन्हें आजीवन कारावास की सजा के साथ 10-10 हजार रुपये के आर्थिक दंड से दंडित किया। अदालत ने अपने निर्णय में साफ कहा कि जमीन विवाद की आड़ में जान लेने जैसा कृत्य किसी भी परिस्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।

अदालत ने हत्या के तीन दोषियों को सुनाई उम्रकैद की सजा, पीड़ित परिवार बोला देर से सही, मिला न्याय

केटी न्यूज/बक्सर

ब्रह्मपुर थाना क्षेत्र में जमीन पर अवैध कब्जा को लेकर वर्षों से चल रहा विवाद आखिरकार न्यायिक फैसले के बाद नई दिशा में पहुंच गया है। मंगलवार को एडीजे-5 संजीत कुमार सिंह की अदालत ने इस बहुचर्चित मामले में फैसला सुनाते हुए तीन आरोपियों को हत्या का दोषी करार दिया और उन्हें आजीवन कारावास की सजा के साथ 10-10 हजार रुपये के आर्थिक दंड से दंडित किया। अदालत ने अपने निर्णय में साफ कहा कि जमीन विवाद की आड़ में जान लेने जैसा कृत्य किसी भी परिस्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।

अपर लोक अभियोजक शेषनाथ सिंह, अनिल सिंह और मोहम्मद जावेद फैमिली ने बताया कि मामला ब्रह्मपुर चौक के पास स्थित दयाशंकर प्रसाद की भूमि से जुड़ा था। आरोप था कि आरोपी पक्ष जबरन ईंट जोड़कर भूमि पर कब्जा करने की कोशिश कर रहा था। विरोध होने पर विवाद हिंसक रूप ले बैठा और लाठी-डंडे एवं धारदार हथियारों से किए गए हमले में कई लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। घायल रामाशंकर प्रसाद को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां उपचार के दौरान उनकी मौत हो गई।

पीड़ित पक्ष ने घटना के बाद संजय तिवारी, उमाशंकर तिवारी, ध्रुव तिवारी सहित कई अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी। पुलिस जांच और साक्ष्यों के आधार पर तीन आरोपितों के खिलाफ अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया गया। न्यायालय ने गवाहों के बयानों, चिकित्सीय रिपोर्ट और अन्य परिस्थितिजन्य साक्ष्यों पर विचार करते हुए तीनों आरोपितों को दोषी पाया।

फैसले के बाद पीड़ित परिवार ने कहा कि लम्बे संघर्ष के बाद उन्हें न्याय मिला है। उन्होंने न्यायपालिका पर विश्वास व्यक्त करते हुए कहा कि इस निर्णय से क्षेत्र में जमीन विवादों को लेकर हिंसा पर अंकुश लगाने का संदेश जाएगा।