वायर जलने से 24 घंटे से बाधित है टेक्सटाइल फीडर की आपूर्ति, लोग परेशान
डुमरांव के टेक्सटाइल फीडर से जुड़े उपभोक्ताओं की मुश्किलें बढ़ गई है। इस फीडर से जुड़े कमल नगर और टेक्सटाइल कॉलोनी जैसे शहर के सघन इलाके में 24 घंटे से बिजली आपूर्ति बाधित है। जिस कारण इस फिगर से जुड़े एक हजार परिवार पिछले 24 घंटे से खासा परेशान है

_ बुधवार की रात से ही जा रही है समस्या, गुरुवार की रात नौ बजे तक नहीं मिली थी राहत
केटी न्यूज/डुमरांव
डुमरांव के टेक्सटाइल फीडर से जुड़े उपभोक्ताओं की मुश्किलें बढ़ गई है। इस फीडर से जुड़े कमल नगर और टेक्सटाइल कॉलोनी जैसे शहर के सघन इलाके में 24 घंटे से बिजली आपूर्ति बाधित है। जिस कारण इस फिगर से जुड़े एक हजार परिवार पिछले 24 घंटे से खासा परेशान है
बिजली कंपनी के अधिकारियों का कहना है कि इस फीडर में वायर जलने से आपूर्ति बाधित हुई है मरम्मत करवाया जा रहा है। वहीं, लोगों का कहना है कि पिछले 24 घंटे में उन्हें बहुत कम बिजली आपूर्ति मिली है वह अभी किस्तों में मिली आपूर्ति से लोग ना तो पेयजल की व्यवस्था कर पाए और न हीं उनके इनवर्टर चार्ज हो पाए हैं, जिस कारण गुरुवार के शाम से ही इलाका घुप अंधेरे में डूबा हुआ है।
महल वायर जलने से 24 घंटे तक बिजली आपूर्ति के बाधित होना विभागीय कर्मियों के लापरवाही को दर्शाता है वह भी तब जबकि बिजली प्राइवेट कंपनी हो गई है तथा लोगों के द्वारा दिया गया रेवेन्यू से हैं कर्मियों और अधिकारियों का वेतन तक मिल पाता है। कंपनी के अधिकारी ऐसे लोकल फालतू के मरम्मत के प्रति किस कदर उदासीन रहते हैं।
टेक्सटाइल फीडर में जले केबल की मरमत में लगे लगभग 24 घंटे इसका प्रत्यक्ष प्रमाण है।बता दे की टेक्सटाइल फीडर से जिन उपभोक्ताओं को बिजली आपूर्ति दी जाती है उनमें सिर्फ जतकुटवा बस्ती को छोड़ दिया जाए तो सभी घरों में मोटर के सहारे ही पेयजल की व्यवस्था होती है।
बिजली आपूर्ति बाधित होने से पेयजल के साथ ही लोगों को भीषण गर्मी से जूझना पड़ा है जिस कारण उनमें गहरा आक्रोश है।लोगों का कहना है कि इससे अच्छी व्यवस्था तो जब बिजली सरकार के जिम्मे थी उस समय था। बिजली कंपनी के प्राइवेट होने के बाद उपभोक्ताओं को सिर्फ स्मार्ट मीटर ही थोपा गया है, कंपनी द्वारा आपूर्ति स्मार्ट नहीं की जा सकी है।
इस संबंध में सहायक विद्युत अभियंता राकेश कुमार दुबे ने बताया कि जले केबल की मरम्मत कर आपूर्ति दुरुस्त करने का प्रयास किया जा रहा है।