मठिला में भीषण अगलगी, बेटी की शादी से पहले उजड़ गया पूरा घर
कोरान सराय थाना क्षेत्र के मठिला गांव में बीती रात लगी भीषण आग ने एक परिवार की खुशियों को खाक कर दिया। दुर्गा उपाध्याय के घर में हुए अचानक शॉर्ट सर्किट से लगी आग देखते-ही-देखते इतनी भयावह हो गई कि कुछ ही मिनटों में पूरा घर राख में तब्दील हो गया। सबसे बड़ा दर्द यह कि फरवरी में होने वाली बेटी की शादी के लिए महीनों से जुटाया गया हर सामान भी राख हो गया।
-- सपनों की जगह बची सिर्फ राख, प्रशासन से त्वरित सहायता की मांग
केटी न्यूज/डुमरांव
कोरान सराय थाना क्षेत्र के मठिला गांव में बीती रात लगी भीषण आग ने एक परिवार की खुशियों को खाक कर दिया। दुर्गा उपाध्याय के घर में हुए अचानक शॉर्ट सर्किट से लगी आग देखते-ही-देखते इतनी भयावह हो गई कि कुछ ही मिनटों में पूरा घर राख में तब्दील हो गया। सबसे बड़ा दर्द यह कि फरवरी में होने वाली बेटी की शादी के लिए महीनों से जुटाया गया हर सामान भी राख हो गया।

परिजनों के मुताबिक, देर रात सभी लोग गहरी नींद में थे तभी पड़ोसियों ने घर से उठता धुआं देखा और शोर मचाया। जब तक लोग बाहर निकले, आग पूरे घर में फैल चुकी थी। ग्रामीणों ने घंटों मशक्कत कर आग को काबू में किया, लेकिन तब तक वह अपना विनाशकारी काम कर चुकी थी। शादी के लिए खरीदे गए कपड़े-गहने, बर्तन-फर्नीचर, घरेलू सामान और करीब 50 हजार रुपये नकद सबकुछ जलकर खत्म हो गया।
अपनी जली दीवारों के सामने खड़े दुर्गा उपाध्याय की आंखों में बेबसी थी। उनका दर्द शब्दों में साफ झलक रहा था कि “बेटी की शादी के लिए बरसों से थोड़ा-थोड़ा करके जोड़ा था, एक रात में सब खत्म हो गया।” परिवार पर आई यह त्रासदी सिर्फ आर्थिक नहीं, बल्कि भावनात्मक आघात भी है, क्योंकि तय तारीख पर अब शादी कराना संभव नहीं दिख रहा।घटना की जानकारी मिलते ही कोरान सराय थानाध्यक्ष माधुरी कुमारी मौके पर पहुंचीं और स्थिति का जायजा लिया। पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

इधर गांव में घटना के बाद भारी संवेदना का माहौल है। स्थानीय जनप्रतिनिधियों व ग्रामीणों ने प्रशासन से पीड़ित परिवार को तत्काल मुआवजा देने की मांग की है। ग्रामीणों का कहना है कि यह महज आगलगी की घटना नहीं, बल्कि एक बेटी के सपनों और एक पिता की उम्रभर की पूंजी का खात्मा है।गांव वालों ने साफ कहा कि अगर समय पर सरकारी सहायता मिल जाए तो परिवार फिर से बेटी की शादी की तैयारी कर सकेगा। फिलहाल परिवार टूटे घर और टूटे सपनों के बीच सिर्फ प्रशासन की मदद का इंतजार कर रहा है।
