और एक बार फिर मां की ममता से महरूम हो गई निशा और चिंता

नया भोजपुर में मंगलवार को जहर खाने से सविता देवी व उसके तीन बच्चों की मौत हो गई। सविता सुनील सिंह की तीसरी पत्नी थी। इसके पूर्व सुनील ने दो और शादियां की थी, दोनों की मौत के बाद करीब आठ साल पहले उसने बिहिया के महथिन मंदिर में सविता के साथ सात फेरे लिए थे। लेकिन मंगलवार को घरेलु विवाद में सविता ने अपने बच्चों के साथ जहर खां इहलीला समाप्त कर ली।

और एक बार फिर मां की ममता से महरूम हो गई निशा और चिंता

रजनीकांत दूबे/डुमरांव

नया भोजपुर में मंगलवार को जहर खाने से सविता देवी व उसके तीन बच्चों की मौत हो गई। सविता सुनील सिंह की तीसरी पत्नी थी। इसके पूर्व सुनील ने दो और शादियां की थी, दोनों की मौत के बाद करीब आठ साल पहले उसने बिहिया के महथिन मंदिर में सविता के साथ सात फेरे लिए थे। लेकिन मंगलवार को घरेलु विवाद में सविता ने अपने बच्चों के साथ जहर खां इहलीला समाप्त कर ली। 

यहां बता दें कि सुनील की पहली पत्नी से दो बेटियां निशा 12 वर्ष तथा चिंता 10 वर्ष है। मां की मौत के बाद दोनों बच्चिायां ममता की छांव से महरूम हो गई थी। बच्चियों को मां ममता की छांव देने के लिए ही सुनील ने दूसरी शादी की, लेकिन वह पत्नी भी बीमारी की वजह से चल बसी। इसके बाद उसने तीसरी शादी भी की, लेकिन इस बार भी निशा और चिंता को मां की ममता नहीं मिल पाई। 

हालांकि, परिवार के अनुसार सुनील के पहली पत्नी से हुई दोनों बच्चियों की परवरिश उनके बड़े भाई प्रेम सिंह व उनकी पत्नी देवान्ति कर रही थी। बावजूद सविता के घर में होने से दोनों का सौतेली ही सही, लेकिन मां की ममता का छांव जरूर मिल रहा था। दोनों बच्चियों को सविता से किसी तरह की शिकायत नहीं थी।

लेकिन, शायद नियति को कुछ और ही मंजूर था। सविता की मौत के बाद एक बार फिर दोनों मां की ममता से महरूम हो गई है। घटना के बाद से ही दोनों बदहवास हो गई थी। अपने बड़े पिता प्रेम सिंह के गोद से चिपक दोनों बच्चियां लगातार रो रही थी। इस दौरान छोटी बच्ची चिंता का हालत बहुत खराब हो रहा था। वह रह-रहकर अचेत हो रही थी। हालांकि, आस पास के लोग तथा बड़े पिता दोनों को ढांढस बंधा रहे थे, लेकिन किसी के भी ढांढस का मरहम उनके जख्मों को कम नहीं कर पा रहा था। बच्चियों को देखने के बाद लोग यही कह रहे थे, शायद इनके भाग्य मंे मां का प्यार-दुलार नहीं है।