ताज्जूब, टेलीफोन वायर रोल में हो रही थी शराब की तस्करी, पहचान छिपाने के लिए बोतल का रैपर तक उखाड़ लिए थे तस्कर
शराबबंदी वाले बिहार में शराब तस्करी के हर दिन नये नये तरकीब देखने को मिल रही है। हालांकि, पुलिस की सक्रियता से नई तरकीब अपनाने के बावजूद तस्करों को मुंह की खानी पड़ रही है।

- 66.5 लाख की शराब के साथ दो तस्कर गिरफ्तार, गुप्त सूचना पर पुलिस को मिली सफलता
- प्रताप सागर के पास पकड़ी गई शराब लदी ट्रक, तस्करों की तरकीब देख पुलिस हुई हैरान, एसडीपीओ ने प्रेस वार्ता में दी जानकारी
केटी न्यूज/डुमरांव
शराबबंदी वाले बिहार में शराब तस्करी के हर दिन नये नये तरकीब देखने को मिल रही है। हालांकि, पुलिस की सक्रियता से नई तरकीब अपनाने के बावजूद तस्करों को मुंह की खानी पड़ रही है।
कुछ ऐसा ही नया भोजपुर थाने की पुलिस ने भी किया है, जब तस्करों के तरकीब को बेनकाब करते हुए एक ट्रक पर लदी 3697.2 लीटर विदेशी शराब के साथ दो तस्करों को पकड़ने में सफलता पाई है। पुलिस को यह सफलता गुप्त सूचना पर बक्सर पटना राष्ट्रीय राजमार्ग 922 पर प्रतापसागर के पास शुक्रवार की सुबह मिली है। बरामद शराब की कीमत 66.5 लाख रूपए आंकी जा रही है। शराब की उक्त खेप को हरियाणा के रोहतक से बिहार के बेगुसराय लाई जा रही थी।
गिरफ्तार तस्करों में मध्यप्रदेश के नानकनगर निवासी अनीश पाटीदार पिता काशीराम तथा इंदौर के राम सिंह पिता भंवर सिंह राउ शामिल है। पुलिस उनसे पूछताछ कर पूरे नेटवर्क को खंगाल रही है। डुमरांव एसडीपीओ अफाक अख्तर अंसारी ने नया भोजपुर थाने में प्रेस वार्ता आयोजित कर इस संबंध में जानकारी दी है। एसडीपीओ ने बताया कि शुक्रवार की सुबह गुप्त सूचना मिली थी कि एक ट्रक पर टेलीफोन के वायर रोल की आड़ में शराब की तस्करी की जा रही है तथा शराब लदी कंटेनर वीर कुंवर सिंह चेकपोस्ट से आगे बढ़ गई है।
एसडीपीओ ने बताया कि इसकी जानकारी मिलते ही नया भोजपुर पुलिस को अलर्ट किया गया। पुलिस प्रताप सागर के पास वाहन चेकिंग अभियान चलाने लगी। इसी दौरान उक्त ट्रक आती दिखाई दी। पुलिस ने जब उसे रोककर पूछताछ की तो चालक व खलासी ने बताया कि इसमें टेलीफोन वायर है। इसके बाद पुलिस ने दोनों को हिरासत में उक्त ट्रक को थाना लाई तथा टेलीफोन वायर रोल को तोड़कर जब देखा गया तो उसमें शराब की पेटिया नजर आई।
एसडीपीओ ने बताया कि उक्त ट्रक से 3697.2 लीटर विदेशी शराब बरामद किया गया है। तस्करों ने शराब निर्माता कंपनी को बचाने के लिए उसमें लदी एक-एक बोतल के रैपर को उखाड़ लिया था, ताकि आसानी से यह पता नहीं चल सके कि शराब का निर्माण कहा हुआ था तथा इसकी सप्लाई कहां होनी थी। उन्होंने कहा कि तस्करों से पूछताछ कर पूरे नेटवर्क को खंगाला जा रहा है। वैसे अभी तक जो प्रारंभिक जानकारी मिली है,
उसके अनुसार शराब की उक्त खेप को हरियाणा के रोहतक से बिहार के बेगुसराय ले जाया जा रहा था। हालांकि, तस्करों को इस बात की जानकारी नहीं थी कि उन्हें शराब की यह खेप कहां तक ले जाना है। मास्टरमाइंड द्वारा हर 40-50 किलोमीटर पर उन्हें लोकेशन भेजा जा रहा है। जाहिर है मास्टर माइंड ट्रक से कुछ किलोमीटर की दूरी बनाकर चल रहे थे तथा जीपीएस सिस्टम से उक्त ट्रक की निगरानी कर रहे थे।
एसडीपीओ ने बताया कि गिरफ्तार तस्करों से पूछताछ तथा उनके मोबाईल के कॉल डिटेल्स के आधार पर तस्करों तक पहुंचने का प्रयास किया जा रहा है। जल्दी ही मास्टरमाइंड के गिरेबां तक पुलिस के हाथ पहुुंच जाएंगे। एसडीपीओ ने इस सफलता पर नया भोजपुर थानाध्यक्ष मनीष कुमार तथा पूरी टीम की तारीफ की। गौरतलब हो कि नया भोजपुर पुलिस पिछले दो महीने में शराब की ऐसी तीन बड़ी खेपों को पकड़ चुकी है।