बारिश ने शहर की सफाई व्यवस्था की खोली पोल, डूबा सड़क और गली
नगर की सफाई व्यवस्था की पोल बारिश ने खोल कर रख दिया है। शहर का कोई ऐसी गली और सड़क नहीं है, जहां जलजमाव से लोगों की परेशानी नहीं हो रही है। नगर का मुख्य सड़क स्टेशन रोड पूरी तरह से गड्ढों में तब्दिल हो चूकी है। रोड में उभरे गड्ढे में पानी जमा हो जाने से उसकी गहराई का पता नहीं चलता और छोटे वाहन उसमें आकर पलट और फंस जा रहे हैं, जिससे जाम की समस्या उत्पन्न हो जाती है। इस समस्या को सही नहीं कर उसे छोड़ दिया गया है।

केटी न्यूज/डुमरांव
नगर की सफाई व्यवस्था की पोल बारिश ने खोल कर रख दिया है। शहर का कोई ऐसी गली और सड़क नहीं है, जहां जलजमाव से लोगों की परेशानी नहीं हो रही है। नगर का मुख्य सड़क स्टेशन रोड पूरी तरह से गड्ढों में तब्दिल हो चूकी है। रोड में उभरे गड्ढे में पानी जमा हो जाने से उसकी गहराई का पता नहीं चलता और छोटे वाहन उसमें आकर पलट और फंस जा रहे हैं, जिससे जाम की समस्या उत्पन्न हो जाती है। इस समस्या को सही नहीं कर उसे छोड़ दिया गया है।
उसी तरह से चाणक्यापुरी कॉलोनी, बाईपास रोड कॉलोनी, टैक्सटाइल्स कॉलोनी, पुराना थाना रोड, सफाखाना रोड, गोला रोड, लाला टोली रोड, चारमोटिया इनार रोड पूरी तरह से जर्जर होकर गड्ढों में तब्दिल हो चुकी है। तीन दिनों से लगातार जहां बारिश होने से किसानों के चेहरे पर खुशी है, वहीं प्रभावित नगरवासियों के चेहर मुर्झाए हुए हैं। पुराना थाना रोड में नाली जाम हैं,
जो नाली से तीन महीना पहले कचरा निकाला गया है, उसे उठाया नहीं गया है, लिहाजा सारा कचरा बहकर नाली में समा गया है, जिससे नाली जाम हो गया है। इसी तरह से अन्य मोहल्लों की स्थिति भी बनी हुई है। रोड पर जमा पानी से उसको ज्यादा परेशानी है, जिसका रोड से नीचे दरवाजा है। जमा पानी बहकर उनके घरों में प्रवेश कर रहा है, जिससे उन्हें रात जागकर बितनी पड़ रही है।
सफाखाना रोड जो कई पंचायतों को जोड़े हुए हैं, लोग बाजार करने के लिये आते हैं और शहर में आते ही फंस जाते हैं। ग्रामीण जब जलजमाव की समस्या को देखते हैं तो कहते हैं कि यह नाम का शहर है, गांव से भी खराब स्थिति है। स्टेशन रोड पूरी तरह से गड्ढों में तब्दिल हो चुका है, सबसे भयावह स्थिति राज हाईस्कूल के मुख्य गेट पर की है। इस स्थान पर नाली का पानी रोड पर ही गिरता है।
नाली का नामोनिशान नहीं है, जिससे पानी को निकाला जा सके। नप केवल समस्या को देखता रह जाता है, फिर शहर के नौजवान खड़े होकर पानी के निकास के लिये उपाय करते नजर आते हैं।